अंग्रेज़ी जो इटर संगठन का कार्य भाषा है, सिर्फ १५ प्रतिशत कर्मचारियों का मूल है, परंतु एक दूसरे को पूरी तरह समझने के लिये एक सामान्य भाषा पर्याप्त नही |
डयूरैंस नदी के किनारे,एक्स-एन-प्रोविंस एवं मेनोस्कके करीब मध्य में स्थित इस क्षेत्र पर एक विशेष समुदाय का उदय हुआ है — 500 लोगों का यह समुदाय 35 देशों से आया है, इन लोगों की करीब 40 बोलियाँ हैं, इनकी अपनी विभिन्न संस्कृति, रीति रिवाज़ एवं कार्य करने के तरीके हैं |
इटर में काम करने का मतलब रोज़ उस पार वो व्यक्ति के ''अंतर'' का सामना करते रेहना है, ऐसा केहते हैं शॉन सिंप्सन जो इटर संगठन के अंतर्गत विविध सांस्कृतिक कार्यशालाओं, संगोष्ठियों और प्रसंगों का आयोजन करते हैं |
ईटर में संस्कृति एवं भाषाओं की विभिन्नता का अंदाज़ा इसी बात से लगाया जा सकता है कि कई बार किसी एक संस्कृति का आदमी दूसरे से सामान्य तौर पर हेलो-हाय करता है और दूसरी संस्कृति का आदमी इसी को काफी गहरी आत्मीयता समझ बैठता है |उसे लगता है कि ना जाने यह आदमी उसे कितनी अच्छी तरह से जानता है| बहु संस्कृतियों का यह अनूठा-सा दृश्य शायद ही विश्व के किसी कोने में देखने को मिले|अपनी बात को दमदार तरीके से कहने की आदत जो विश्व के किसी कोने में आम बात मानी जाती हो विश्व के किसी दूसरे कोने से आए लोगों को बहुत ही उत्तेजक एवं असहनीय लगे| ईटर की भाषा में ' हाँ',' ना' या ' मुझे पसंद है',' कृप्या', 'मैं करना चाहूँगा ' जैसे सामान्य से शब्द या वाक्यांश का मतलब इस बात से अलग अलग निकाला जा सकता है कि ये शब्द या वाक्यांश बोल कौन रहा है | बोलने वाला जापानी, चीनी, अमेरीकी, भारतीय, रूसी, कोरीयाई या दक्षिण या उत्तर यूरोप में से कहाँ का निवासी है |संस्कृति के बदलते ही शब्दों के अर्थों में बदलाव आ जाता है और ये स्वभाविक भी है |